मध्य प्रदेश की आर्थिक राजधानी इंदौर स्वच्छता के साथ ही अंगदान में भी नंबर वन शहर के तौर पर जाना जाता है । इंदौर कि एक डेंटल सर्जन डॉक्टर संगीता पाटिल को ब्रेन डेड घोषित करने के बाद उनकी एक किडनी चोइथराम, एक किडनी सीएचएल अस्पताल और लीवर भोपाल के बंसल अस्पताल में भर्ती मरीजों की जिंदगियों को बचाने के लिए भेजा गया। इस दौरान इंदौर में एक बार फिर ग्रीन कॉरिडोर बना।
दुर्घटना में हुई थी घायल दरअसल डॉ संगीता पाटिल
पिछले दिनों दुर्घटना में घायल हो गई थी इसके बाद से उनका एक निजी अस्पताल में इलाज चल रहा था आज उन्हें चोइथराम अस्पताल में भर्ती कराया गया जहां डॉक्टरों की टीम ने परीक्षण के बाद उन्हें ब्रेन डेड घोषित कर दिया गया। इसके बाद अंगदान से जुड़ी सामाजिक संस्था के लोग सक्रिय हुए, संगीता पाटिल के परिवार ने भी अंगदान के लिए सहमति जाहिर की इस पर संभागायुक्त पवन कुमार से सहमति लेने के बाद इंदौर में ग्रीन कॉरिडोर बनाया गया।

7 किलोमीटर का रास्ता 9 मिनट में तय किया, इंदौर में एक बार फिर जिंदगी को रास्ता दिया।
दरअसल चोइथराम अस्पताल से सीएचएल अस्पताल तक ग्रीन कोरियाडर बनाया गया जहां 7 किलोमीटर के रास्ते को महज 9 मिनट में तय किया गया और किडनी सीएचएल अस्पताल में भर्ती एक मरीज के लिए पहुंचाए गई, वहीं लीवर भोपाल के बंसल अस्पताल के लिए भेजा गया। दरअसल इंदौर अनुदान में देश में नंबर वन शहरों की गिनती में आता है। यहां से सबसे ज्यादा लोगों ने अंगदान को प्रोत्साहन दिया है। इसी कड़ी में आज एक बार फिर डॉ संगीता पाटिल के परिजनों की सहमति के बाद उनके अंग दान कर 3 मरीजों को एक नई जिंदगी दी गई।